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Sunday 4 May 2014

जुबानी आतंक से मानवता का खून


सोलहवीं लोकसभा के लिए हो रहा मतदान अंतिम पड़ाव से महज दो कदम की दूरी पर है अधिक से अधिक सीटों पर कब्जा जमाने के लिए नेताओं को बदजुबानी से कोई परहेज नही है भले ही उससे जनता की भावनाएं आहत हो या लोकतंत्र की मर्यादा तार तार हो। उनका कोई सरोकार नही है सपा नेता अबु आसिम आजमी का बयान इन दिनों सुर्खियों में है। जिसमें उन्होने मुसलमानों के वजूद पर सवाल उठाते हुए उनका डीएनए टेस्ट कराने की बात कही थी वो भी इसलिए की वो सच्चा मुसलमान है या नही। हो सकता है कि वो मुसलमान के रुप में आर एस एस का आदमी हो। तो बीजेपी भला चुप कैसे रह सकती थी । उसने भी नहले पर दहला मार दिया। बीजेपी प्रवक्ता रविशंकर प्रसाद ने कहा कि डीएनए टेस्ट कांग्रेस पार्टी का करांए और उन लोगों का कराएं। जो सेक्युलरिज्म के सूरमा बने हैं और कम्युनलिज्म के चैंपियन हैं मीम अफजल ने पूछा कि क्या डीएनए टेस्ट कराकर मजहब का सर्टिफिकेट बांट रहे हैं आजमी। हालांकि ये अकेले आजमी की कहानी नही है। नेताओं की लंबी फौज है जो अपनी आतंक से मानवता का खून करत रहे हैं। जनता इस चुनाव में ऐसे नेताओं को सबक नही सिखायी तो भगवान ही बचाएंगे इस देश को।

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