हरियाणा
की धरती चुनावी तपिश से झुलस रही है। लेकिन उस तपन की गर्मी सत्ता पाने की
गर्मी के आगे फीकी पड़ती जा रही है और सत्ता के चक्रव्यूह को तोड़ने के
लिए सभी दलों के उम्मीदवार अपने अपने शस्त्र चला रहे हैं। बड़े बड़े वादे
किए जा रहे हैं। लोगों को विकास का आइना दिखाया जा रहा है। ताकि सत्ता का
ताला खोलने के लिए जनता उनके चुनाव निशान पर अपनी मुहर लगा दे। 15 अक्टूबर
को मतदान के साथ ही जनता अपने वोट की ताकत से सत्ता के सिंहासन का भविष्य
ईवीएम में बंद करेगी। और 19 अक्टूबर को ईवीएम के खुलने के साथ ही सत्ता के
सरताज का दीदार होगा।
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